हल्द्वानी से बड़ी खबर | कालाढूंगी प्रशासन की बड़ी कार्रवाई: 17 बीघा सरकारी भूमि से अतिक्रमण हटाया गया

हल्द्वानी से बड़ी खबर | कालाढूंगी प्रशासन की बड़ी कार्रवाई: 17 बीघा सरकारी भूमि से अतिक्रमण हटाया गया

स्थान : हल्द्वानी

कालाढूंगी तहसील प्रशासन ने रविवार को ग्राम पूरनपुर में 17 बीघा (लगभग 1.060 हेक्टेयर) सरकारी भूमि से अतिक्रमण हटाकर बड़ी प्रशासनिक कार्रवाई को अंजाम दिया है। इस ज़मीन पर अवैध रूप से विकसित की जा रही आवासीय कॉलोनी को जेसीबी मशीनों की मदद से ध्वस्त किया गया। यह भूमि “रोखड़” श्रेणी में आती है, जिस पर किसी भी प्रकार का निजी निर्माण प्रतिबंधित है।

प्रशासन ने लिया कब्जा, अतिक्रमणकर्ताओं ने खुद हटवाया निर्माण

पूर्व में पांच लोगों को नोटिस जारी कर 15 दिनों की मोहलत दी गई थी, जिसमें कहा गया था कि वह स्वेच्छा से अतिक्रमण हटाएं और अपना पक्ष प्रस्तुत करें। चेतावनी दी गई थी कि तय समय में अतिक्रमण नहीं हटाया गया तो प्रशासन स्वयं कार्रवाई करेगा और उसका पूरा खर्च संबंधित लोगों से वसूला जाएगा।

नतीजन, अतिक्रमणकर्ताओं ने खुद ही जेसीबी के माध्यम से निर्माण हटाना शुरू किया, जिसके बाद प्रशासन ने भूमि को अपने कब्जे में ले लिया।

कॉलोनी में बन चुके थे RCC मार्ग

राजस्व विभाग की रिपोर्ट में खुलासा हुआ कि पूरनपुर, परगना भावर कोटा के खसरा संख्या 78/1 मध्ये स्थित भूमि पर अवैध कॉलोनी विकसित की जा रही थी, जिसमें पक्की सड़कों (RCC) तक का निर्माण कर लिया गया था।

पूर्व अधिकारियों की भूमिका पर सवाल

इस कार्रवाई के बाद शिकायतकर्ता ने गंभीर आरोप लगाए हैं। उन्होंने कहा कि इतने बड़े स्तर पर अतिक्रमण बिना पूर्व एसडीएम, तहसीलदार, पटवारी और अन्य राजस्व अधिकारियों की मिलीभगत के संभव नहीं है। शिकायतकर्ता ने मांग की है कि इन अधिकारियों के खिलाफ भी सख्त जांच और कार्रवाई की जानी चाहिए।

प्रशासन सख्त, अतिक्रमण नहीं होगा बर्दाश्त

कालाढूंगी तहसील प्रशासन ने साफ कर दिया है कि भविष्य में भी सरकारी भूमि पर कोई भी अतिक्रमण नहीं सहा जाएगा। सभी ग्रामों में ऐसी जमीनों की नक्शा जांच और भौतिक सत्यापन की प्रक्रिया शुरू की जाएगी ताकि ऐसी गतिविधियों पर अंकुश लगाया जा सके।

वही शिकायतकर्ता विपिन पांडे ने कहा की मेरे द्वारा लगातार इसको लेकर शिकायत की जा रही थी इसके बावजूद भी 17 बीघा सरकारी भूमि पर अवैध निर्माण किया जा रहा था। सबसे बड़ा सवाल है की सरकारी भूमि की रेजिस्ट्री ओर दकहीखारी किन अधिकारियों के द्वारा की गई, क्या उनके ऊपर कार्यवाही नहीं की जानी चाहिए ।